1929 में कांग्रेस के लाहौर अधिवेशन में जवाहरलाल नेहरू की अध्यक्षता में एक प्रस्ताव पारित कर भारत के लिए पूर्ण स्वराज की मांग की गई थी। महात्मा गांधी ने इस मांग के लिए मार्च 1930 में सविनय अवज्ञा आंदोलन शुरू किया और इसके बाद उन्होंने तत्कालीन गवर्नर जनरल लॉर्ड इरविन को पत्र लिखकर 11 मांगें सामने रखी थीं।