पुणे के क्लाउडनाइन हॉस्पिटल की डॉक्टर विधि मेहता के मुताबिक, ब्रेस्टफीडिंग मदर्स का तनाव उनके बच्चे के लिए खतरनाक हो सकता है। बकौल मेहता, इससे बचाव के लिए ब्रेस्टफीडिंग मदर्स को बच्चे के सोने के समय खुद भी सोना चाहिए, संतुलित भोजन व घर के कामों में परिवार की मदद लेनी चाहिए, रोज़ाना हल्का योग या ध्यान करना चाहिए।