मुगल बादशाह अकबर के नवरत्नों में शामिल बीरबल का असली नाम 'महेश दास' था और अकबर ने उन्हें बीरबल की उपाधि दी जो बाद में उनकी पहचान बनी। बीरबल का अर्थ 'हाज़िरजवाब' या बुद्धिमान' होता है। बीरबल कम उम्र में ही कविताएं लिखने लगे थे और उनकी ख्याति के कारण रीवा के राजा ने उन्हें अपने दरबार में शामिल किया।