केंद्र ने दिल्ली हाईकोर्ट में समलैंगिक शादी संबंधी याचिकाओं पर कहा है कि समलैंगिकता के अपराध की श्रेणी से हटने के बावजूद समलैंगिक शादियां मूलभूत अधिकार की श्रेणी में नहीं लाई जा सकतीं। बकौल सरकार, समलैंगिक संबंधों की तुलना पति, पत्नी व बच्चों वाली भारतीय परिवार की अवधारणा से नहीं हो सकती जिसमें पुरुष 'पति' व स्त्री 'पत्नी' होती है।